कर्नाटक विधानसभा चुनाव को लेकर राज्य में महौल गर्म है। सभी पार्टियां एक दूसरे पर आरोप-प्रत्यारोप के साथ चुनावी मैदान में उतर चुकी हैं। बीजेपी और कांग्रेस के बीच राज्य के क्षेत्रीय पार्टी जेडीएस भी अपने गढ़ कर्नाटक के मांड्या जिले को बरकरार रखने के लिए एक नई चुनावी रणनीति की तलाश में है। जेडीएस ने 2018 में यहां के सभी सात सीटों पर जीत दर्ज की थी । कहा जाता है कि मांड्या जिला जेडीएस पार्टी का अभेद किला है, यहां जेडीएस का पिछले एक दशक से एकाधिकार रहा है।
बीजेपी भी मांड्या जिले में अपनी पैठ बनाने के लिए हर संभव प्रयास कर रही है और इस लड़ाई को त्रिकोणीय मुकाबले में बदल रही है। सूत्रों से पता चला है कि बीजेपी यहां से कुछ सीटों पर मजबूत उम्मीदवार उतारने पर विचार कर रही थी , जिसमें मांड्या भी एक सीट है। पार्टी ने मांड्या से निर्दलीय सांसद और दिवंगत नेता अंबरीश की पत्नी सुमालता को भी पार्टी का समर्थन दिया है, जिससे यहां का मुकाबला दिलचस्प दिखाई दे रहा है।
मंड्या विधानसभा सीट कर्नाटक की महत्वपूर्ण विधानसभा सीट है, जहां 2018 में जनता दल ने जीत दर्ज की थी। इस बार मंड्या विधानसभा सीट के परिणाम किस पार्टी के पक्ष में होंगे, यह जनता ही तय करेगी।
मंड्या विधानसभा सीट कर्नाटकके मंड्या जिले में आती है। 2018 में मंड्या में कुल 42 प्रतिशत वोट पड़े। 2018 में जनता दल से एम श्रीनिवास ने इंडियन नेशनल कांग् के पी.रवि कुमार को 21608 वोटों के मार्जिन से हराया था। मंड्या विधानसभा सीट मंड्या के अंतर्गत आती है।