मणिपुर में हिंसा की घटनाएं अभी भी देखने को मिल रही है। इसको लेकर सड़क से संसद तक बवाल मचा है और विपक्ष भी सरकार के खिलाफ लामबंद है। इस बीच आज विपक्षी दलों का गठबंधन ‘इंडिया’ (इंडियन नेशनल डेवलपमेंटल इन्क्लूसिव अलांयस) के 21 सांसदों का एक प्रतिनिधिमंडल मणिपुर का दौरा करने निकला है। ये सांसद हिंसाग्रस्त क्षेत्रों और राहत शिविरों का दौरा कर जमीनी स्थिति का जायजा लेंगे।
विपक्षी प्रतिनिधिमंडल के सदस्य पहले जमीनी हालात का आंकलन करेंगे और फिर कल राज्यपाल से मिलेंगे। सांसद दो समूहों में बांटे गए हैं और वे हालात का आकलन करने के लिए पहाड़ी और घाटी दोनों इलाकों का अलग-अलग दौरा करेंगे। जिन इलाकों में ये सांसद जाएंगे उनमें चुराचांदपुर, इम्फाल पूर्व और पश्चिम में राहत शिविर, मोइरांग राहत शिविर शामिल हैं। सांसद अपनी यात्रा की एक रिपोर्ट तैयार करेंगे और बाद में संसद में उस पर चर्चा की मांग करेंगे।
लोकसभा में नेता विपक्ष अधीर रंजन के अलावा अविश्वास प्रस्ताव लाने वाले कांग्रेस के सांसद गौरव गोगोई व फूलो देवी नेताम, तृणमूल कांग्रेस की सुष्मिता देव, जदयू अध्यक्ष राजीव रंजन सिंह ललन व अनिल हेगड़े, झामुमो की महुआ मांझी, द्रमुक की कनिमोझी व रवि कुमार, एनसीपी के मोहम्मद फैजल, आरएलडी के जयंत चौधरी, राजद के मनोज कुमार झा, आरएसपी के एनके प्रेमचंद्रन और वीसीके के टी तिरुमावलवन, भाकपा के संदोश कुमार, माकपा के ए ए रहीम, सपा के जावेद अली खान, आइयूएमएल के मोहम्मद बशीर, आम आदमी पार्टी के सुशील गुप्ता, शिवसेना उद्धव गुट के अरविंद सावंत विपक्षी संसदीय प्रतिनिधिमंडल के सदस्य के रूप में मणिपुर 29-30 जुलाई को मणिपुर का दौरा करेंगे।