अयोध्या में बने भव्य राम मंदिर में रामलला की प्राण प्रतिष्ठा की तैयारी जोरों पर हैं। इस बीच मोदी अर्काइव नाम के ट्विटर हैंडल से 32 साल पहले आज के दिन की ही कुछ तस्वीरें शेयर की गई हैं जिसमें पीएम मोदी तत्कालीन बीजेपी अध्यक्ष मुरली मनोहर जोशी के साथ अयोध्या में पूजा पाठ करते नजर आ रहे हैं।
पीएम मोदी 32 साल पहले 15 जनवरी 1992 को मुरली मनोहर जोशी के साथ अयोध्या में राम मंदिर पहुंचे थे। उस दौरान वो कन्याकुमारी से कश्मीर तक एकता का संदेश फैलाने के लिए एकता यात्रा पर थे।
तस्वीरों का साझा किए जाने के साथ ही ये भी कहा गया है कि पीएम मोदी ने उस वक्त ‘जय श्री राम’ के नारों के बीच, प्रतिज्ञा ली थी कि राम मंदिर बनने पर ही वो यहां वापस आएंगे। इन तस्वीरों के साथ लिखा गया है कि अंत में नरेंद्र मोदी सरकार की तपस्या फलीभूत हुई। ट्विटर पर इन तस्वीरों को साझा करते हुए लिखा गया है कि अनगिनत हिंदुओं की सदियों की दृढ़ता के बाद, भगवान श्री राम को उनकी जन्मभूमि पर एक भव्य मंदिर में पुनर्स्थापित किया गया है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 14 जनवरी, 1992 के दिन अयोध्या पहुंचे थे। बीजेपी के दिग्गज नेता मुरली मनोहर जोशी और कलराज मिश्र के साथ अयोध्या में कसम ली थी कि वे जब राम मंदिर का निर्माण होगा तभी वह यहां लौंटेंगे।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी तब बीजेपी की कन्याकुमारी से कश्मीर तक एकता यात्रा पर थे। जब नरेंद्र मोदी अयोध्या पहुंचे तो उन्होंने ‘जय श्री राम’ के नारों के बीच संकल्प लिया था मंदिर निर्माण का सही समाधान निकालेंगे और कसम खाई कि वह राम मंदिर निर्माण के बाद ही यहां लौटेंगे। अब पीएम मोदी राम मंदिर में प्राण प्रतिष्ठा के वक्त अयोध्या जाएंगे। राम मंदिर की आधारशिला उन्होंने कमल के फूल से रखी थी। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 1992 में ही एकता यात्रा के श्रीनगर नगर में समापन पर धारा 370 को हटाने का संकल्प लिया था। जिसे वह पूरा पहले ही पूरा कर चुके हैं।