लखनऊ की नीट छात्रा आयुषी पटेल ने एनटीए के खिलाफ हाईकोर्ट में याचिका दायर करवाई थी। सुनवाई के दौरान छात्रा की याचिका को खारिज कर दिया गया है। एनटीए द्वारा दाखिल किए गए दस्तावेजों को देखने के बाद हाईकोर्ट ने पाया कि आयुषी पटेल ने कूट रचित दस्तावेज के आधार पर याचिका दाखिल की थी।
छात्रा की तरफ से याचिका में बताया गया था कि एनटीए ने उसे फटी हुई ओएमआर शीट भेजी थी और उसका रिजल्ट भी जारी नहीं किया गया। सुनवाई के दौरान कोर्ट ने एनटीए को सभी डॉक्यूमेंट्स जमा करने के लिए कहा था। जब एनटीए की तरफ से कोर्ट में ऑरिजनल दस्तावेज प्रस्तुत किए गए तो कोर्ट ने पेटिशन को खारिज कर दिया। असल में आयुषी पटेल के नीट परीक्षा में 720 में से 355 अंक आए हैं।
लखनऊ की रहने वाली आयुषी पटेल का कहना था कि पहले एनटीए ने उसका रिजल्ट रोक लिया था। फिर जब उन्होंने ईमेल किया तो कारण के तौर पर एनटीए ने फटी हुई ओएमआर शीट उसे मेल कर दी। छात्रा ने इस मामले को लेकर अपनी वीडियो बनाकर सोशल मीडिया पर पोस्ट की, जो तेजी से वायरल होने लगी। जब ये मुद्दा राष्ट्रीय स्तर पर छा गया तो विपक्षी दल कांग्रेस की प्रियंका गांधी ने इस पर ट्वीट किया। इसके बाद एनटीए का कहना था कि उनकी तरफ से छात्रा को कोई ऐसा मेल नहीं भेजा गया, जिसमें फटी ओएमआर शीट की फोटो भेजी हो। एनटीए ने छात्रा के दावों को गलत बताया था।