अडानी-हिंडनबर्ग मामले में कोटक बैंक का नाम आया है। रॉयटर्स के मुताबिक अमेरिका की शॉर्ट-सेलिंग कंपनी हिंडनबर्ग रिसर्च ने सोमवार को कहा कि मार्केट रेगुलेटर सेबी ने उसे एक पत्र भेजा है। इसमें कहा गया है कि उसने पिछले साल अडानी ग्रुप के खिलाफ शॉर्ट बेट में नियमों का उल्लंघन किया था। हिंडनबर्ग ने यह भी कहा कि कोटक बैंक ने एक ऑफशोर फंड स्ट्रक्चर बनाया। इस स्ट्रक्चर का इस्तेमाल हिंडनबर्ग के इनवेस्टर पार्टनर ने अडानी ग्रुप के खिलाफ बेट लगाने के लिए किया। शॉर्ट-सेलर ने कहा कि उसने इनवेस्टर रिलेशनशिप के जरिए 41 लाख डॉलर का रेवेन्यू कमाया और अडानी के अमेरिकी बॉन्ड पर अपनी शॉर्ट पोजीशन से केवल $31,000 कमाए।
सेबी ने हिंडनबर्ग को भेजे नोटिस में कहा है कि अमेरिकी फर्म ने अपनी रिपोर्ट में तथ्यों को गलत ढंग से पेश करते हुए लोगों को गुमराह करने का काम किया था। यहां बता दें कि बीते साल जब Hindenburg ने अपनी रिपोर्ट पब्लिश की थी, तो अडानी ग्रुप ने इन आरोपों का खंडन करते हुए इन्हें निराधार बताया था।
सेबी जानबूझ कर कुछ बड़े चेहरे को बचाने की कोशिश कर रही है। उसने कोटक महिंद्रा बैंक का नाम लेते हुए सेबी पर उसे बचाने का आरोप लगाया। हिंडनबर्ग ने आरोप लगाते हुए कहा कि सेबी ने हम पर अधिकार क्षेत्र का दावा करने के लिए काफी कोशिश की, लेकिन इसने नोटिस में स्पष्ट तौर पर उस पार्टी का नाम नहीं लिखा, जिसका संबंध सीधे भारत से है।