Voice Of The People

आज से लागू हुए नए GST रेट, जानें मोदी सरकार के फैसले से क्या-क्या चीजें हुई सस्ती

आज से लागू हुआ जीएसटी 2.0 यानी जीएसटी रिफॉर्म देश के गरीब, किसान, मिडल क्‍लास, दुकानदार, उद्यमी, युवा, महिलाएं, बुजुर्ग… हर वर्ग की साझा खुशी है। अब सबसे जरूरी बात कि वे कौन-से सामान हैं, जिनकी कीमतें आज से कम हो गई हैं। कौन-सा सामान सस्‍ता हो गया है, इसकी पूरी डिटेल हम आपके सामने रखने जा रहे हैं। सिगरेट, तंबाकू जैसी सिन गुड्स और कुछ अल्‍ट्रा लग्‍जरी आइटम्‍स महंगे भी हो रहे हैं, हमने उसकी लिस्‍ट भी यहां दे रखी है।

किचन का खर्च अब काफी कम होगा

अब नीचे हम जो लिस्‍ट दे रहे हैं, वो खासतौर पर घर की महिलाओं के लिए है। पैक्ड पनीर, पराठा, चपाती, पिज्जा ब्रेड, यूएचटी दूध अब टैक्स-फ्री हो गए हैं। मिठाई, चॉकलेट, बिस्किट, पास्ता, कॉर्न फ्लेक्स, नमकीन पर अब 12% की बजाय सिर्फ 5% टैक्‍स लगेगा। वहीं पौधे आधारित दूध (जैसे बादाम, ओट्स, सोया मिल्‍क) पर भी अब केवल 5% टैक्‍स लगेगा। ये तमाम आइटम्‍स पहले की अपेक्षा सस्‍ते हो गए हैं।

घर के जरूरी सामान की बात करें तो 370 रुपये का सरसों तेल अब 344 रुपये का पड़ेगा, यानी करीब 26 रुपये बचेंगे। 650 रुपये के शुद्ध घी पर करीब 45 रुपये बचेंगे। वहीं 200 रुपये के जैम पर 14 रुपये और 100 रुपये के स्‍नैक्‍स पर 7 रुपये बचेंगे।

मदर डेयरी के ज्यादातर प्रॉडक्‍ट्स या तो जीरो GST के दायरे में आ गए हैं, या फिर बाकी बचे प्रॉडक्‍ट्स 12% से अब 5%वाले GST स्‍लैब में आ गए हैं। केंद्र सरकार ने GST कटौती का पूरा लाभ उपभोक्‍ताओं तक पहुंचाने का निर्देश दिया है और इसी के मद्देनजर मदर डेयरी ने उपभोक्‍ताओं को राहत दी है।

किसानों को फायदा

किसान ट्रैक्‍टर से लेकर अन्‍य कृषि यंत्र अब कम कीमत पर खरीद पाएंगे। पिछले दिनों कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने बताया था कि GST की घटी हुई दरों के बाद ट्रैक्टर (35 एचपी) अब 41,000 रुपये सस्ता होगा। ट्रैक्टर (45 एसपी) 45,000 रुपये सस्ता मिलेगा। वहीं ट्रैक्टर (50 एचपी) पर 53,000 रुपये और ट्रैक्टर (75 एचपी) पर 63,000 रुपये की बचत होगी. अन्‍य कृषि उपकरण भी सस्‍ते हो गए हैं।

जीएसटी रिफॉर्म के लागू होते ही एक ओर ज्‍यादातर सामान सस्‍ते हो गए हैं, वहीं कुछ सामान महंगे भी हुए हैं। इनमें सिन गुड्स और अल्‍ट्रा लग्‍जरी आइटम्‍स शामिल हैं और ज्‍यादातर आइटम्‍स को टैक्‍स के स्‍पेशल स्‍लैग 40 फीसदी के दायरे में रखा गया है।

Must Read

Latest