तमिलनाडु सरकार में मंत्री वी. सेंथिल बालाजी को बर्खास्त करने का आदेश जारी कर पांच घंटे के भीतर फैसले पर रोक लगाने वाले राज्यपाल आरएन रवि का विवादों से पुराना नाता रहा है। पूर्व आईपीएस अधिकारी आरएन रवि हे जॉइंट इंटेलिजेंस कमेटी के अध्यक्ष के तौर पर कार्य किया है। वह भारत के डिप्टी एनएस रहे हैं। आरएन रवि का जन्म 3 अप्रैल 1952 को बिहार के पटना में हुआ था। आईपीएस अफसर के तौर पर वह जम्मू-कश्मीर में भी विभिन्न पदों पर रहे हैं।
तमिलनाडु के राज्यपाल आरएन रवि गुरुवार को DMK सरकार में मंत्री वी सेंथिल बालाजी को बर्खास्त कर दिया है। हालांकि विवाद के बाद खबर आई कि राजभवन ने अपने आदेश को स्थगित कर दिया है। मुख्यमंत्री एमके स्टालिन ने इसकी सिफारिश नहीं की थी। गवर्नर का यह आदेश अपनी तरह का दुर्लभ मामला माना जा रहा है. इस अभूतपूर्व कदम पर सत्ता पक्ष से लेकर तमाम राजनीतिक दल सवाल उठा रहे हैं। फिलहाल अब अटॉर्नी जनरल आर वेंकटरमणी से सलाह के बाद राज्यपाल आगे फैसला लेंगे।
बालाजी इस समय नौकरियों के नाम पर पैसा लेने और मनी लॉन्ड्रिंग समेत भ्रष्टाचार के कई मामलों में गंभीर आपराधिक कार्रवाईयों में फंसे हैं। प्रवर्तन निदेशालय ने बाला जी को 14 जून को अरेस्ट किया था। वो अभी न्यायिक हिरासत में हैं। राज्यपाल के इस निर्णय की सीएम एमके स्टालिन ने कड़ी आलोचना की। उन्होंने गवर्नर के फैसले को असंवैधानिक बताया और कहा, इससे कानूनी रूप से निपटा जाएगा।
नरेंद्र मोदी सरकार द्वारा जिन लोगों को हटाया गया उनमें आरएन रवि भी शामिल थे, जिन्हें नागालैंड राजभवन से हटाकर तमिलनाडु के राज्यपाल का पद सौंपा गया था।