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Veer Savarkar: The Man Who Could Have Prevented Partition- सावरकर भारत की राष्ट्रीय सुरक्षा के पितामह- उदय माहुरकर

पूर्व चीफ इनफॉरमेशन कमिश्नर और प्रसिद्ध लेखक उदय माहुरकर की किताब Veer Savarkar: The man who could have prevented partition का उर्दू वर्जन 9 अक्टूबर 2025 को रिलीज हुआ। उदय माहुरकर के साथ इस किताब के सह लेखक हैं डॉक्टर चिरायु पंडित। इस किताब का विमोचन केंद्रीय मंत्री अर्जुन राम मेघवाल ने किया।

किताब के विमोचन के बाद भारत के पूर्व सूचना आयुक्त उदय माहुरकर ने कहा, “यह पुस्तक वीर सावरकर की जीवनी नहीं है। बल्कि, यह हिंदू-मुस्लिम समुदाय के बारे में उनके सच्चे विचारों को सामने लाती है और दर्शाती है कि सावरकर भारत की राष्ट्रीय सुरक्षा के पितामह हैं। उन्होंने पिछले 75-77 वर्षों में भारत के सामने आने वाली कई चुनौतियों की भविष्यवाणी की थी, जिनमें चीन और पाकिस्तान के साथ संघर्ष और 1937 में ही अनुमानित विभाजन भी शामिल है। आज का कार्यक्रम सावरकर के सच्चे विचारों पर केंद्रित था। विभाजन के दौरान, कई अंध-विवाद हुए और कई लोगों ने कठोर बयान दिए; सावरकर ने भी संभवतः ऐसा ही किया होगा।”

उदय माहुरकर ने कहा, “पहली बार सभी धर्मों और जातियों के लिए समान अधिकारों के अपने दृष्टिकोण पर आधारित वीर सावरकर के बेबाक विचार, मेरी पुस्तक ‘Veer Savarkar: The man who could have prevented partition’ के उर्दू अनुवाद के माध्यम से मुस्लिम समुदाय तक पहुँच रहे हैं। चिरायु पंडित इसके सह लेखक हैं। यह उर्दू संस्करण सत्य की एक क्रांति है, जो सावरकर के बारे में उनके वैचारिक और राजनीतिक विरोधियों द्वारा दशकों से फैलाई गई विकृतियों और गलतफहमियों को तोड़ती है। यह पुस्तक पुख्ता सबूतों के साथ साबित करती है कि सावरकर का हिंदू राष्ट्र प्रत्येक भारतीय के लिए समान अधिकारों के लिए था, न कि प्रभुत्व या विभाजन के लिए।सावरकर ने केवल तुष्टिकरण की राजनीति और कट्टरपंथी इस्लामवादियों का विरोध किया बल्कि उनकी लड़ाई न्याय और अखंडता के लिए थी। यह पुस्तक तुष्टिकरण की राजनीति से विभाजित भारतीय मुसलमानों के एक वर्ग को मुख्यधारा में लाने का मार्ग प्रशस्त कर सकती है।”

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