यमुना के बढ़े जलस्तर के कारण देश की राजधानी दिल्ली में जल प्रलय जैसे हालात हो गये हैं। हालात ये हो गई है कि एनडीआरएफ के साथ भारतीय सेना के जवान रेस्क्यू ऑपरेशन में जुट गए हैं।
दिल्ली वालों पर संकट टला नहीं है। पिछले चार दिन से दिल्ली में बाढ़ जैसे हालात हैं। यमुना उफान पर है और पूरी दिल्ली को गिरफ्त में लेने की तरफ कदम बढ़ा रही है। आईटीओ और राजघाट पानी में डूब गया है। पूरे इलाके को जलमग्न देखा जा रहा है। सड़कों पर पानी का कब्जा है। सुप्रीम कोर्ट के करीब तक यमुना का पानी पहुंच गया है। एक दिन पहले शुक्रवार को बाढ़ के पानी में डूबने से तीन लड़कों की जान चली गई है।
दिल्ली के उपराज्यपाल वी के सक्सेना ने शुक्रवार देर रात कहा कि सेना ने यमुना नदी के तेज बहाव के कारण इंद्रप्रस्थ के निकट क्षतिग्रस्त हुए वॉटर रेगुलेटर की मरम्मत का काम पूरा कर लिया है। उपराज्यपाल ने ट्वीट किया कि मजदूर कर्मियों, भारतीय सेना के जवानों और अधिकारियों को नमन। उनके अथक प्रयास और परिश्रम से ही विश्व स्वास्थ्य संगठन की इमारत के सामने यमुना का तटबंध ठीक किया जा सका और आईटीओ बैराज पर गाद से जाम द्वार को खोला जा सका।
दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने शुक्रवार को विकास मार्ग, आईटीओ पर चल रहे मरम्मत कार्यों का निरीक्षण करने के बाद कहा- “मजदूरों और इंजीनियरों ने पानी को शहर में प्रवेश करने से रोकने के लिए मिट्टी की दीवार बनाने के लिए रात भर काम किया। सेना और एनडीआरएफ भी ऑपरेशन में शामिल हो गए हैं, इसलिए मुझे विश्वास है कि हम अगले तीन-चार में पानी को रोकने में सक्षम होंगे।