बिहार में चुनाव आयोग स्पेशल इंटेंसिव रिवीजन कर रहा है। इसके तहत चुनाव आयोग का उद्देश्य है कि बिहार का कोई भी मतदाता वोटिंग के अधिकार से वंचित न रहे और कोई भी फर्जी मतदाता अपना वोट ना डाल पाए।सुप्रीम कोर्ट में विपक्ष को करारा तमाचा मिला, SC को चुनाव आयोग के ऊपर भरोसा; प्रदीप भंडारी ने विपक्ष के झूठ का किया पर्दाफाश विपक्ष इस मुद्दे को लेकर सुप्रीम कोर्ट गया जहां से उसे करारा झटका लगा है।
इसी मुद्दे को लेकर आज तक समाचार चैनल पर डिबेट चल रही थी, जिसमें भाजपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता प्रदीप भंडारी भी शामिल थे। प्रदीप भंडारी ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट से विपक्ष को करारा तमाचा लगा है और सुप्रीम कोर्ट ने भी कहा है कि यह चुनाव आयोग का अधिकार है।
"आज सुप्रीम कोर्ट में विपक्ष को करारा तमाचा मिला क्योंकि 10 पेटिशन जो थीं वो कह रही थी कि S.I.R असंवैधानिक है और चुनाव आयोग पक्षपात कर रहा है लेकिन सुप्रीम कोर्ट को चुनाव आयोग के ऊपर भरोसा है" : @pradip103, बीजेपी प्रवक्ता #Dangal #biharelection2025 #electioncommission |… pic.twitter.com/AWlICyAO9a
— AajTak (@aajtak) July 10, 2025
प्रदीप भंडारी ने कहा कि 57 फ़ीसदी लोग स्पेशल इंटेंसिव रिवीजन प्रक्रिया में हिस्सा ले चुके हैं। उन्होंने कहा, “अगर किसी को दिक्कत होती तो इतनी बड़ी संख्या में लोग हिस्सा नहीं लेते। सुप्रीम कोर्ट ने चुनाव आयोग को सही ठहराया है। इस मामले को लेकर राहुल गांधी और तेजस्वी यादव अभी तक चुनाव आयोग से मिलने क्यों नहीं गए? क्योंकि उन्हें पूरा भरोसा है कि चुनाव आयोग सही काम कर रहा है। अभी तक सुप्रीम कोर्ट ने इस मामले पर स्टे नहीं दिया और जनता अधिक संख्या में पार्टिसिपेट कर रही है।”