पीएम मोदी ने आज शुरु हो रहे मानसून सत्र पर अपने संबोधन में कहा आप सभी का स्वागत है। सावन का पवित्र मास चल रहा है और इस बार तो डबल सावन है, इसलिए सावन की अवधि भी ज्यादा है और सावन मास पवित्र संकल्प और पवित्र कार्यों के लिए बहुत ही उत्तम माना जाता है। आज जब लोकतंत्र के मंदिर में हम इस पवित्र मास में मिल रहे हैं, तो इस लोकतंत्र के मंदिर में अनेक पवित्र कार्य करने का इससे बड़ा उत्तम अवसर नहीं हो सकता।
सदन में जो माननीय सांसद आते हैं, वो जमीन से जुड़े हुए होते हैं, जनता के दुःख दर्द को समझने वाले होते हैं। इसलिए जब चर्चा होती है, तो उनकी तरफ से जो विचार आते हैं वो जड़ों से जुड़े हुए विचार आते हैं। इसलिए चर्चा तो समृद्ध होती ही है, साथ ही निर्णय भी सशक्त और परिणामकारी होते हैं।
इस सत्र में जो बिल लाए जा रहे हैं वो सीधे-सीधे जनता से जुड़े हुए हैं। हमारी युवा पीढ़ी जो एक प्रकार से डिजिटल वर्ल्ड के साथ नेतृत्व कर रही है, उस समय डाटा प्रोटेक्शन बिल देश के हर नागरिक को एक नया विश्वास देने वाला और विश्व में भारत की प्रतिष्ठा बढ़ाने वाला है।
हमारे यहां सदियों से एक परंपरा रही है कि जब विवाद हो तो उसे संवाद से सुलझाया जाए। उसको अब कानूनी आधार देते हुए Mediation बिल लाने की दिशा में इस सत्र का बहुत बड़ा उपयोग है।