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ISI का चहेता गुलाम नबी फाई कैसे करता है वैश्विक भारत गतिविधियों की प्लानिंग? 

हर्षित शर्मा, जन की बात

भारतीय सुरक्षा और खुफिया एजेंसियों द्वारा एक आकलन किया गया है कि पाकिस्तान भीतर से पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी आईएसआई के द्वारा पश्चिमी शिक्षाविदों को प्रभावित किया जा रहा है और भारत विरोधी एजेंडे को बढ़ावा दिया जा रहा है। और इस काम में सबसे महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहा है आई एस आई का चहेता गुलाम नबी फाई। आपको बता दे की गुलाम नबी फाई अमेरिका में रहने वाला वो शक्स है जो भारत विरोधी लॉबी का मुख्य चेहरा माना जाता है। गुलाम नबी फाई ने अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी से अपनी शिक्षा प्राप्त की और फिर अमेरिका चले गए।साल 2010 में अमेरिका में एक कांफ्रेंस आयोजित करवाई और उसमे पाकिस्तानी के राजदूत को आमंत्रित किया , तभी से गुलाम नबी फाई के आई एस आई के साथ संबंध होने की आशंका जताई जाने लगी थी। साल 2011 में गुलाम नबी फाई को अमेरिका में रहते हुए पकिस्तान की एजेंसी आईएसआई के लिए काम करने के आरोप में गिरफ्तार भी किया जा चुका है। उसी साल जुलाई के महीने में अमेरिका के वर्जिनिया से गुलाम नबी फाई को अमेरिकी पुलिस ने 25 करोड़ से ज्यादा कि अवैध रकम आई एस आई को ट्रांसफर करने के आरोप में गिरफ्तार किया और गुलाम नबी आजाद को दो साल की जेल की सजा भी सुनाई। साल 2013 में गुलाम नबी फाई की रिहाई हुई। आपको बता दे की पिछले महीने ही 5 तारिक को जब धारा 370 के निलंबन की दूसरी सालगिरह थी , गुलाम नबी फाई ने वॉशिंगटन में मौजूद भारतीय दूतावास के बाहर प्रदर्शन किया और उनके प्रदर्शन करने के ठीक सात दिन बाद ही दिज्मेंटनलिंग ग्लोबल हिंदुत्व की कांफ्रेंस की घोषणा कर दी गई। भारत और हिंदुत्व को बदनाम करने की इस साजिश में शामिल अमरीकी शिक्षकों और तथाकथित में से एक हैं ऑडरे ट्रस्की। आपको बता दें कि कैलिफोर्निया में होने जा रही इस कांफ्रेंस के स्पॉन्सर्स का अभी तक पता नहीं चल पाया है नाही कांफ्रेंस में भाग लेने वाले महानुभावों ने किसी तरह की कोई जानकारी दी है। ऐसे में विचार करने वाली बात यह है कि आई एस आई के राइट हैंड माने जाने वाले गुलाम नबी फाई का आखिर इस कांफ्रेंस से कैसा संबंध है?

इसी के संबंध में प्रदीप भंडारी के शो जनता का मुकदमा मे कई बड़े खुलासे भी हुए। आप जनता का मुकदमा शो इंडिया न्यूज़ या डेलीहंट पर लाइव देख सकते हैं। आपको बता दें इन खुलासों में एक बड़ा खुलासा यह भी रहा कि यह जांच का विषय है कि क्या पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी आईएसआई इस सम्मेलन को फंडिंग कर रही है? क्योंकि इस सम्मेलन के स्पॉन्सर के बारे में अभी तक कुछ भी स्पष्ट नहीं है।

इस मामले में आपका क्या सोचना है आप हमें कमेंट कर कर नीचे बता सकते हैं।

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Sombir Sharma
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Sombir Sharma - Journalist

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